
प्रभात ध्यानी बोले – अपमानित किया गया, इसलिए नहीं लिया हिस्सा
रामनगर। राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर प्रदेशभर में शासन-प्रशासन की ओर से राज्य आंदोलनकारियों को सम्मानित करने के लिए कार्यक्रम आयोजित किए गए। इसी क्रम में रामनगर तहसील में भी सम्मान समारोह रखा गया, लेकिन रामनगर और कालाढूंगी तहसील के राज्य आंदोलनकारियों ने इस कार्यक्रम का बहिष्कार किया।
राज्य आंदोलनकारी प्रभात ध्यानी ने मीडिया से बातचीत में कहा कि नैनीताल जिला प्रशासन और स्थानीय अधिकारियों ने आंदोलनकारियों के साथ जिस तरह का व्यवहार किया, उससे वे गहरी पीड़ा महसूस कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि आंदोलनकारियों को “अछूत” जैसा व्यवहार झेलना पड़ा, जो बेहद अपमानजनक है।
प्रभात ध्यानी ने बताया कि 6 सितंबर को राज्य आंदोलनकारी सम्मेलन के लिए मुख्यमंत्री को आमंत्रित करने के प्रयास प्रशासनिक स्तर पर बार-बार किए गए। इसके लिए कुमाऊं मंडलायुक्त, जिलाधिकारी नैनीताल और एसडीएम रामनगर को पत्र, फोन और व्हाट्सऐप के माध्यम से सूचित किया गया। इसके बावजूद किसी भी अधिकारी ने मुख्यमंत्री की उपस्थिति या अनुपस्थिति की जानकारी देना जरूरी नहीं समझा।
उन्होंने कहा कि जिलाधिकारी ने भरोसा दिलाया था कि एसडीएम रामनगर आंदोलनकारियों से संपर्क करेंगे और स्थिति स्पष्ट करेंगे, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। यही कारण रहा कि आंदोलनकारियों ने अपने मान-सम्मान की रक्षा के लिए प्रशासन द्वारा आयोजित सम्मान समारोह में शामिल न होने का निर्णय लिया।
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